यमुना की स्थिति नाजुक क्यों ? चन्दन कुमार, नई दिल्ली
दिल्ली से लेकर ब्रज क्षेत्र तक यमुना नदी प्रदूषण और अतिक्रमण के खतरे का सामना कर रही है। भारत की सबसे पवित्र और प्राचीन नदियों में यमुना का स्मरण गंगा के साथ ही किया जाता है। कृष्ण की बाल लीलाओं से लेकर अवतारी चरित्र तक कितने ही व्याख्यान यमुना जी से जुड़े है ! इसको प्रदूषण मुक्त करने के लिए कई साधु, सन्यासी और समाजसेवी सम्पूर्ण रूप से अपने आप को समर्पित कर चुके है ! राज्य और केंद्र की सरकार भी इसपर अपना विशेष ध्यान देने की बात करती है ! इन सब के बावजूद यमुना की स्थिति जस की तस बनी हुई है ! ऐसा क्यों ? इन सवालों को लेकर जब ब्रज क्षेत्र के सह संयोजक नमामि गंगे प्रकल्प के पंकज चतुर्वेदी से वर्तलाप हुई तो उनकी पीड़ा उनके आँखों से छलकने लगा ! उन्होंने मां यमुना की प्रतिमा अपने घर पर बनाकर उनकी उपासना करने से लेकर अपने जीवन को यमुना जी के नाम समर्पण तक की सारी बाते बताई ! कहा कि मौजूदा सरकार यमुना जी को लेकर कितना तत्पर है, पहले किसी सरकार ने ऐसी तत्परता नहीं दिखाई होगी ! केंद्र सरकार स्थानीय स्तर पर यमुना जी की सफाई के लिए बजट तो भेजती...